9415 025 019 /868 777 7007 09-February-2025

अवध के लक्ष्मणपुरी (लखनऊ) में आदि माँ गंगा - गोमती के तट स्थित अति प्राचीन शिव मंदिर, जिसे श्री मनकामेश्वर महादेव के नाम से जाना जाता है| यह अति प्राचीन शिवधाम विश्वविख्यात है| जनश्रुति के अनुसार वीरवर लक्ष्मण जी सीता जी को छोड़कर अयोध्यापुरी वापस जा रहे थे| कहते है तब उनका मन बड़ा अशांत व व्यथित था| तब उन्होंने गोमती तट के इस पवित्र स्थान पर विश्राम किया था| तब इस पवित्रधाम के भव्य शिवलिंग की उन्होंने पूजा व अर्चना की थी| इसलिये इस स्थान को "लक्ष्मण टीले" के नाम से जाना गया और इस नगर का नाम "लक्ष्मणपुरी" के नाम से विख्यात हो गया| और वह शिवमंदिर फिर "श्री मनकामेश्वर मठ मंदिर" के नाम से प्रसिद्ध हो गया| यह पवित्र धाम लखनऊ के डालीगंज बरौलिया में स्थित है| प्रत्येक सोमवार को यहाँ भूतभावन भगवान शिव शंकर महादेव की भव्य आरती की आभा देखते ही बनती है| ढोल - ताशे - नगाड़े - मंजीरे - शंख और डमरू की करतल ध्वनि पर भाव विभोर होकर आरती करते भक्तो को देख कर मन - मस्तिष्क से हर हर महादेव कर स्वर प्रस्फुटित होने लगता है, मनकामेश्वर मठ मंदिर के सराहनीय प्रयासों से ही मंदिर के निकट बने मनकामेश्वर घाट पर पूर्णिमा के अवसर पर होने वाली दिव्य माँ गोमती की महाआरती का आकर्षण भक्तो को दूर - दूर से यहाँ खींच लाता है| मनकामेश्वर मठ मंदिर की वर्तमान श्री महंत देव्या गिरी जी के अथक प्रयासों से मंदिर आने वाले भक्तो के ह्रदय में इस मठ मंदिर के प्रति आस्था व मान्यता है|